Video - भूतिया रात: पुलिस स्टेशन की दहशत भरी कहानी
पुलिस ने उस रात को स्टेशन क्यों बंद कर दिया? वो रात थी ठंडी और कुहासे से भरी। पुलिस अधिकारी अनिल जब चौकी के दीवार पर बल्ब बदल रहा था, तब उसने दूर किसी के रोने की आवाज़ सुनी। आवाज़ थी एक बच्ची की—बिलकुल नज़दीक से आती हुई। अनिल ने तुरंत टॉर्च उठाई और आवाज़ की दिशा में बढ़ने लगा। जब वो पीछे की सुनसान गलियों में पहुँचा, तो उसने देखा एक पुरानी, जीर्ण-शीर्ण लड़की, सफेद कपड़ों में लिपटी खड़ी थी। "तुम यहाँ क्या कर रही हो?" उसने पूछा। लड़की ने सिर उठाया और उसकी आँखों से खून की बूंदें टपकने लगीं। अचानक सब कुछ ठंडा हो गया, और लड़की ने हँसते हुए कहा, "मेरा नाम सीमा है। मुझे मार डाला गया था, यहीं पर, ठीक सामने।" पुलिस अधिकारी अनिल के कानों में उसकी गूँजती आवाज़ बसी रही। अगले ही पल, लड़की अदृश्य हो गई। अनिल की साँसें धौंकनी जैसी चलने लगीं और उसने तुरंत स्टेशन बंद करने का आदेश दिया। वो रात अब भी पुलिस स्टेशन में दहशत का पर्याय बनी हुई है।